नीट-पीजी परीक्षा स्थगित: एबीवीपी, जेएनयूएसयू, और एफएआईएमए ने मांगे जवाब
नीट-पीजी परीक्षा, जो 23 जून को होनी थी, को स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा स्थगित कर दिया गया है। इस अचानक निर्णय ने कई छात्रों को निराश और जवाब मांगने पर मजबूर कर दिया है।
एबीवीपी के महासचिव यज्ञवल्क्य शुक्ला का बयान
अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) के महासचिव यज्ञवल्क्य शुक्ला ने सरकार और राष्ट्रीय परीक्षा बोर्ड से स्पष्टीकरण की मांग की। उन्होंने पारदर्शिता की आवश्यकता पर जोर दिया और कहा कि छात्रों को स्थगन के कारणों के बारे में जानने का अधिकार है।
जेएनयूएसयू के अध्यक्ष धनंजय की प्रतिक्रिया
जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय छात्र संघ (जेएनयूएसयू) के अध्यक्ष धनंजय ने सरकार की आलोचना की और कहा कि कई छात्र इस परीक्षा के लिए शहरों में यात्रा करते हैं, और अंतिम समय में रद्दीकरण ने उन्हें काफी असुविधा पहुंचाई है।
एफएआईएमए के अध्यक्ष डॉ. रोहन कृष्णन का बयान
फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया मेडिकल एसोसिएशन (एफएआईएमए) के अध्यक्ष डॉ. रोहन कृष्णन ने स्थगन पर निराशा व्यक्त की। उन्होंने राष्ट्रीय परीक्षा बोर्ड और स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय से तुरंत जवाब देने का आग्रह किया और छात्रों को आश्वासन दिया कि एफएआईएमए उनके साथ है।
स्वास्थ्य मंत्रालय का निर्णय
स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय ने कहा कि हाल ही में प्रतियोगी परीक्षाओं में अनियमितताओं के आरोपों के कारण यह एक एहतियाती कदम था। उन्होंने आश्वासन दिया कि नीट-पीजी परीक्षा की नई तारीख जल्द ही घोषित की जाएगी और छात्रों को हुई असुविधा के लिए खेद व्यक्त किया।
पृष्ठभूमि और आगे की कार्रवाई
यह स्थगन राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी (एनटीए) के महानिदेशक सुभोध कुमार सिंह को परीक्षा पेपर लीक और अनियमितताओं के आरोपों के बीच उनके पद से हटाने के बाद आया है। शिक्षा मंत्रालय ने परीक्षा प्रक्रिया और डेटा सुरक्षा प्रोटोकॉल में सुधार की सिफारिश करने के लिए डॉ. के. राधाकृष्णन की अध्यक्षता में एक उच्च-स्तरीय समिति का गठन किया है।