अधीर रंजन चौधरी ने नए आपराधिक कानूनों के लिए अधिक समय की मांग की

अधीर रंजन चौधरी ने नए आपराधिक कानूनों के लिए अधिक समय की मांग की

अधीर रंजन चौधरी ने नए आपराधिक कानूनों के लिए अधिक समय की मांग की

कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने 1 जुलाई से लागू होने वाले नए आपराधिक कानूनों के त्वरित कार्यान्वयन पर चिंता जताई है। उनका मानना है कि सभी को इन बदलावों को समझने के लिए अधिक परामर्श की आवश्यकता है।

त्वरित कार्यान्वयन पर चिंता

चौधरी ने कहा, ‘कल से लागू होने वाले तीन आपराधिक कानूनों में कई मुद्दे हैं जिन पर अधिक स्पष्टता की आवश्यकता है। सदियों से जो कानून चल रहे हैं, अगर उन्हें रातोंरात बदल दिया जाए, तो आम आदमी और छोटे अदालतों के वकीलों को कठिनाई होगी।’ उन्होंने जोर देकर कहा कि छोटे शहरों के वकीलों को नए कानूनों को समझने के लिए अधिक समय दिया जाना चाहिए।

जनता का विश्वास आवश्यक

चौधरी ने यह भी कहा कि कानूनों को लागू करने से पहले आम आदमी का विश्वास जीतना चाहिए। उन्होंने कहा, ‘इसे लागू करने से पहले अधिक बहस होनी चाहिए और लोगों का विश्वास जीतना चाहिए। अगर कार्यान्वयन में कुछ महीने या एक साल की देरी होती है, तो इससे कोई फर्क नहीं पड़ेगा।’

सरकार का रुख

कानून और न्याय राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने घोषणा की कि नए कानून, भारतीय न्याय संहिता, भारतीय सुरक्षा संहिता, और भारतीय साक्ष्य अधिनियम, IPC, CrPC, और भारतीय साक्ष्य अधिनियम की जगह लेंगे। मेघवाल ने आश्वासन दिया कि पूरे देश में प्रशिक्षण सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं, जिसमें पुलिस अनुसंधान और विकास ब्यूरो, न्यायिक अकादमियों और राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालयों द्वारा प्रशिक्षण शामिल है।

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