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असम सरकार ने श्रीमंत शंकरदेव के शिक्षाओं को बढ़ावा देने के लिए विश्व भारती विश्वविद्यालय के साथ समझौता किया

असम सरकार ने श्रीमंत शंकरदेव के शिक्षाओं को बढ़ावा देने के लिए विश्व भारती विश्वविद्यालय के साथ समझौता किया

असम सरकार ने विश्व भारती विश्वविद्यालय के साथ श्रीमंत शंकरदेव के शिक्षाओं को बढ़ावा देने के लिए समझौता किया

असम सरकार ने विश्व भारती विश्वविद्यालय के साथ एक समझौता ज्ञापन (MoU) पर हस्ताक्षर किए हैं ताकि श्रीमंत शंकरदेव के भक्ति आंदोलन के अध्ययन और अनुसंधान को असम और भारत से परे बढ़ावा दिया जा सके।

यह समझौता असम सरकार के उच्च शिक्षा सचिव मधु सूदन नाथ और विश्व भारती विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार अशोक कुमार महतो द्वारा जनता भवन, गुवाहाटी में हस्ताक्षरित किया गया। इस अवसर पर असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा भी उपस्थित थे।

मुख्यमंत्री सरमा ने विश्व भारती विश्वविद्यालय और इसके कुलपति का असम सरकार के साथ साझेदारी करने के लिए आभार व्यक्त किया। उन्होंने बताया कि श्रीमंत शंकरदेव की शिक्षाओं ने जाति की पहचान को पार करते हुए लोगों को एकजुट किया है और उनके दर्शन के अध्ययन और अनुसंधान के महत्व पर जोर दिया।

सरमा ने यह भी घोषणा की कि असम सरकार इस कुर्सी की स्थापना के लिए 5 करोड़ रुपये की एकमुश्त अनुदान प्रदान करेगी। श्रीमंत शंकरदेव की कुर्सी जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय, पंजाब विश्वविद्यालय और भारत के अन्य प्रमुख विश्वविद्यालयों में भी स्थापित की जाएगी, जिससे कुल पांच कुर्सियाँ होंगी।

इस कार्यक्रम में शिक्षा मंत्री डॉ. रानोज पेगु, विश्व भारती विश्वविद्यालय के कुलपति अरविंद मोंडल और अन्य विश्वविद्यालयों के कुलपति सहित कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।

Doubts Revealed


असम CM -: असम CM का मतलब असम के मुख्यमंत्री है। मुख्यमंत्री भारतीय राज्य असम में सरकार के प्रमुख होते हैं।

हिमंत बिस्वा सरमा -: हिमंत बिस्वा सरमा वर्तमान में असम के मुख्यमंत्री हैं, जो भारत के पूर्वोत्तर राज्य में स्थित है।

MoU -: MoU का मतलब समझौता ज्ञापन है। यह दो या दो से अधिक पक्षों के बीच एक औपचारिक समझौता होता है।

विश्व भारती विश्वविद्यालय -: विश्व भारती विश्वविद्यालय पश्चिम बंगाल, भारत में स्थित एक प्रसिद्ध विश्वविद्यालय है, जिसकी स्थापना कवि रवींद्रनाथ टैगोर ने की थी।

श्रीमंत शंकरदेव -: श्रीमंत शंकरदेव असम के एक संत-विद्वान थे जिन्होंने भक्ति आंदोलन की शुरुआत की, जो भगवान की भक्ति और लोगों के बीच एकता पर केंद्रित है।

भक्ति आंदोलन -: भक्ति आंदोलन भारत में एक आध्यात्मिक आंदोलन था जो भगवान के प्रति प्रेम और भक्ति पर जोर देता था, और इसका उद्देश्य लोगों को उनके सामाजिक स्थिति की परवाह किए बिना एक साथ लाना था।

रु 5 करोड़ -: रु 5 करोड़ का मतलब 50 मिलियन भारतीय रुपये है। यह एक बड़ी राशि है जो असम सरकार इस परियोजना के लिए दे रही है।
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